31. ‘भूल गए राग रंग भूल गए छकड़ी, तीन चीज़ याद रही नून, तेल, लकड़ी’ – लोकोक्ति के लिए सही अर्थ का चयन कीजिए।
⚪नून, तेल, लकड़ी के बिना संसार अधूरा है
⚪अत्यावश्यक वस्तुओं से ही प्रेम
⚪गृहस्थी के चक्कर में फँस जाना
32. ‘जिसका जन्म अविवाहित कन्या के गर्भ से हुआ हो’ – के लिए शुद्ध शब्द है?
⚪कानीन
⚪अवैध पुत्र
⚪कुमारीसुत
33. किस शब्द में विसर्ग संधि का प्रयोग नहीं हुआ?
⚪शिरोभाग
⚪क्षुधोत्तेजन
⚪सर्वतोमुखी
34. उपसर्ग रहित शब्द है?
⚪सुयोग
⚪अत्यधिक
⚪विदेश
35. कौन-सा शब्द ‘धनुष’ का पर्यायवाची नहीं है?
⚪विशिखासन
⚪चाप
⚪विशिख
36. “यदि तुम आते तो मैं भी तुम्हारे साथ चलता।”इस वाक्य हेतु सही काल है?
⚪हेतुहेतुमद् भूतकाल
⚪संदिग्ध भूतकाल
⚪अपूर्ण भूतकाल
37. किस शब्द में ‘वी’ प्रत्यय का प्रयोग शुद्ध रूप से नहीं हुआ है?
⚪साध्वी
⚪तपस्वी
⚪मायावी
38. किस शब्द में कर्मधारय समास का प्रयोग नहीं हुआ है?
⚪जवाँमर्द
⚪क्रोधाग्नि
⚪कर्तव्याकर्त्तव्य
39. किस शब्द में समास की दृष्टि से विभक्ति का लोप नहीं, अपितु विभक्ति सहित प्रयोग किया गया है?
⚪कृतघ्न
⚪स्वस्थ
⚪स्वर्णकार
40. हिन्दी की ‘क’ ध्वनि व्याकरण की दृष्टि में है?
⚪महाप्राण-सघोष
⚪अल्पप्राण-अघोष
⚪महाप्राण-अघोष
41. ‘नेत्री’ शब्द का पुंल्लिग क्या होगा?
⚪नेतृ
⚪नेता
⚪अभिनेता
42. ‘वह जिस पर हमला किया गया हो’ – के लिए एक शब्द चुनें?
⚪आघात
⚪आक्रांत
⚪आक्रांता
43. ‘किताब’ किस भाषा का शब्द है?
⚪फ़ारसी
⚪अंग्रेजी
⚪हिन्दी
44. ‘बंदूक एक उपयोगी …………. है।’ रिक्त स्थान के लिए उचित शब्द का चयन करें?
⚪शस्त्र
⚪रक्षक
⚪औजार
45. ‘मैं खाना खा चुका हूँ।’ इस वाक्य में भूतकालिक भेद इंगित कीजिए।
⚪सामान्य भूत
⚪आसन्न भूत
⚪संदिग्ध भूत
46. ‘योगीश्वर’ शब्द का सम्यक् संधि विच्छेद होगा?
⚪योगि + ईश्वर
⚪योगि + श्वर
⚪योगिन् + ईश्वर
47. निम्न शब्दों में से कौन-सा शब्द ‘रूढ़ है?
⚪विद्यालय
⚪लम्बोदर
⚪पंकज
48. अशुद्ध वर्तनी वाला शब्द छाँटिए?
⚪कार्मिक
⚪सांघातिक
⚪षण्मासिक
49. अशुद्ध विकल्प को पहचानिए?
⚪मूसलाधार = मूसल + धार
⚪सभी = सब + ही
⚪दीनानाथ = दीना + नाथ
50. ‘जो नायिका अपने प्रेमी से मिलने स्वयं जाए’ -के लिए एक शब्द है।
⚪अभिसारिका
⚪प्रोषितपतिका
⚪स्वयंगमना
51. व्याकरण की दृष्टि से ‘प्रेम’ शब्द क्या है?
⚪भाववाचक संज्ञा
⚪विशेषण
⚪शुद्धता
52. “यज्ञशाला’ शब्द में उपयुक्त समास का चयन करें?
⚪तृतीया तत्पुरुष
⚪षष्ठी तत्पुरुष
⚪चतुर्थी तत्पुरुष
53. “वाय’ शब्द में कौन-सा प्रत्यय लगा है?
⚪एय
⚪इय
⚪अय
54. ‘गौरव’ शब्द की सही व्युत्पत्ति है?
⚪गुरु + अ
⚪गुरु + अव
⚪गौर + व
55. अशुद्ध विकल्प को चुनें?
⚪उद्धत-समुद्धत
⚪उन्मीलन-निमीलन
⚪अर्पण-ग्रहण
भारत में परंपरा के प्रयोजन और औचित्य को लेकर दो अतिरेकवादी और परस्पर घोर विरोधी स्वर अकसर सुनाई पड़ते हैं। एक स्तर पर वो परंपरा प्रेमी हैं जो अतीत के प्रत्येक चिहून को परंपरा मानने की जिद पकड़े हैं और दूसरे स्तर पर वो ‘आधुनिक’ हैं जो देश के प्रत्येक प्राचीन को संदेह की दृष्टि से देखते हैं। और एक कथित आधुनिक राष्ट्र के निर्माण में उसे बाधा की तरह पाते हैं।
भारतीय मनीषा ने परंपरा को महत्त्व तो सदैव दिया है परन्तु इसे उचित ही प्रश्नांकित और तदनुसार परिमार्जित भी किया है। भारतीय समाज को एक परंपरावादी समाज के रूप में अभिहित किया जाता है। जिससे कुछ लोग यह धोखा खा जाते हैं कि प्राचीनतम समय से यहाँ कुछ नहीं बदला है। परंपरा के साथ परिवर्तन ही भारतीय समाज की खूबी है।
वैदिक संहिताओं की कतिपय मान्यताओं का विरोध उपनिषदों में ही हो गया जो कि वैदिक वाङ्मय के ही भाग थे। महावीर स्वामी व गौतम बुद्ध ने उस वर्ण व्यवस्था का विरोध किया जिसमें वे स्वयं जन्मे थे। बौद्ध धर्म की नितान्त नीरस हीनयान परंपरा का विरोध महायान संप्रदाय के रूप में सामने आया और महायान संप्रदाय ने सृष्टिविषयक परिकल्पना का वह दार्शनिक वितान रचा जिसका गौतम बुद्ध सदैव विरोध करते रहे। थे। जब पारसिकों एवं शकों से संपर्क हुआ तो उनका क्षत्रप-महाक्षत्रप का ढांचा भारत की राजनीतिक प्रणाली का हिस्सा बन गया। गांधार कला का शिल्प शास्त्र हम भारतीयों को यूनानियों से लेने में कोई संकोच नहीं हुआ इसी प्रकार ज्योतिष में यवन सिद्धान्त को आदर के साथ स्थान मिला अचकन और बूटे मध्य एशिया के ठंडे
प्रदेशों से आये कुषाण लाये थे। भारतीय वस्त्र विन्यास में ये इस प्रकार समाहित हो गए कि इन्हें पृथक् परंपरा के रूप में देखना संभव नहीं।
यह बदलाव ही भारतीय परंपरा की पूँजी है। जब कभी बदलाव को छोड़कर वह जड़ता की ओर उन्मुख हुई है उसने दीर्घकालीन प्रगति को नुकसान पहुँचाया है। सामाजिक इतिहासकारों के अनुसार गुप्तोत्तर काल एक ऐसा युग था जब परंपराओं के पिष्टपेषण का बोलबाला था। परिवर्तन और परिमार्जन की कोई प्रेरणा नहीं थी। उस समय परंपरा के नाम पर कुछ ऐसी बद्धमूल धारणाएँ विकसित हुईं जिनका दुष्परिणाम हम आज भी भोग रहे हैं।
यद्यपि यह सही है कि अतीत की कुछ बद्धमूल परंपराओं का खामियाजा हमें उठाना पड़ा परंतु यह अभीष्ट नहीं है कि संपूर्ण अतीत और तजनित परंपरा सर्वथा त्याज्य हो जाए। स्वातंत्र्योत्तर भारत में आधुनिकता एवं बौद्धिकता के नाम पर समृद्ध अतीत को कटघरे में खड़ा करना एक बौद्धिक विलास बन गया है। हर वह चिहून और धरोहर जो प्राचीन व परंपरा से जुड़ी हुई है। बौद्धिक समाज के एक वर्ग के लिये हेय बन गई है। परंपरा को प्रश्नांकित और तदनुसार परिमार्जित करना तो आवश्यक है परन्तु उसकी पूर्व शर्त यह है कि परंपरा का ठीक से अवगाहन किया जाए।
56. भारतीय समाज की विशेषता है।
⚪परंपरा विरोध
⚪परंपरा के साथ परिवर्तन
⚪सभी विकल्प गलत हैं।
⚪यूनानियों ने
⚪कुषाणों ने
⚪बौद्धों ने
⚪पिसाई
⚪व्याख्या
⚪महिमा मंडन
⚪परंपरा का अवगाहन
⚪अतीत को कटघरे में खड़ा करना
⚪धरोहर और चिह्न
60. Which Of The Following Sentences Is Correct?
⚪My Father Down Put The Foot When I Said I Wanted A Car For My Seventeenth Birthday. He Said I Am Too Young
⚪My Father Put His Foot Down When I Said I Wanted A Car For My Seventeenth Birthday. He Said I Was Too Young.
⚪All Options Are Wrong