Class 7 Maths Chapter 9 Exercise 9.1 – परिमेय संख्याएँ
NCERT Solutions for Class 7 Maths Chapter 9 Rational Numbers Ex 9.1 – आज हम आप के लिए Class 7 Maths Chapter 9 लेकर आयें है। जो कि Class 7 Maths Exams के लिए अत्यन्त उपयोगी साबित होगी. कक्षा 7वीं के विद्यार्थी के लिए यहां पर एनसीईआरटी कक्षा 7 गणित अध्याय 9. (परिमेय संख्याएँ) प्रश्नावली 9.1 के लिए सलूशन दिया गया है. जोकि एक सरल भाषा में दिया है .ताकि विद्यार्थी को पढने में कोई दिक्कत न आए .इसकी मदद से आप अपनी परीक्षा में अछे अंक प्राप्त कर सकते है.
NCERT Solutions For Class 7th Maths परिमेय संख्याएँ (प्रश्नावली 9.1)
(0) – 1 और 0 (ii) – 2 और – 1 (iii) और (iv) और
हल : (i) पहले, हम समान हर वाली तुल्य परिमेय संख्या प्राप्त करते हैं :अतः और
अब, हम तुल्य परिमेय संख्याओं और के अंशों क्रमशः – 6 और 0 के बीच पूर्णांक -5, – 4, – 3, – 2, – 1 चुनते हैं।
तब, परिमेय संख्याएँ :
इस प्रकार हैं कि
या
अतः, – 1 और 0 के बीच पाँच परिमेय संख्याएँ हैं :
और
(ii) पहले, हम समान हर वाली तुल्य परिमेय संख्याएँ प्राप्त करते हैं :
अतः, और
अब, हम तुल्य परिमेय संख्याओं और के अंशों क्रमशः – 12 और – 6 के बीच पूर्णांकों – 11, – 10, – 9, – 8, – 7 को चुनते हैं।
अतः, परिमेय संख्याएँ :
इस प्रकार हैं कि
या
इसलिए – 2 और – 1 के बीच में पाँच परिमेय संख्याएँ होंगी
और
(iii) पहले, हम समान हर वाली तुल्य परिमेय संख्याएँ प्राप्त करते हैं :
अतः, और
अब, हम तुल्य परिमेय संख्याओं और के अंशों क्रमशः -36 और -30 के बीच कोई पाँच पूर्णांक -35, -34, -33, -32, -31 चुनते हैं।
तब, परिमेय संख्याएँ;
इस प्रकार हैं कि
या
इसलिए और के बीच में पाँच परिमेय संख्याएँ होंगी।
और
(iv) पहले, हम समान हर वाली तुल्य परिमेय संख्याएँ ज्ञात करते हैं,
इसलिए
और
अब, हम तुल्य परिमेय संख्याओं और के अंशों क्रमशः – 3 और 4 के बीच पूर्णांकों – 2, – 1, 1, 2, 3 को चुनते हैं।
तब परिमेय संख्याएँ :
इस प्रकार हैं कि
या
इसलिए और के बीच में पाँच परिमेय संख्याएँ होंगी :
अब, हम लिख सकते हैं
इस प्रकार इन संख्याओं में हम एक प्रतिरूप देखते हैं। अगली चार संख्याएँ होंगी
और
और उत्तर
(ii) इसके निम्नतम रूप में एक परिमेय संख्या है। अब, हम लिख सकते हैं
इस प्रकार, इन संख्याओं में हम एक प्रतिरूप देखते हैं। अगली चार संख्याएँ होंगी
और
अत: वांछित चार और परिमेय संख्याएँ हैं;
और उत्तर
इसके निम्नतम रूप में एक परिमेय संख्या है। अब, हम लिख सकते हैं
इस प्रकार, हम इन संख्याओं में एक प्रतिरूप देखते हैं। अगली चार संख्याएँ होंगी :
और
अतः, वांछित चार और परिमेय संख्याएँ हैं :
और
(iv) इसके निम्नतम पदों में एक परिमेय संख्या है।
अब, हम लिख सकते हैं।
इस प्रकार, हम इन संख्याओं में एक प्रतिरूप देखते हैं। अगली चार संख्याएँ होंगी
और
अतः, वांछित चार और परिमेय संख्याएँ हैं।
उत्तर
हल : जैसा कि हम जानते हैं कि दी गई परिमेय संख्या के लिए, दी गई परिमेय संख्या के अंश और हर को एक ही शून्येतर पूर्णांक से गुणा करके हम तुल्य परिमेय संख्याएँ प्राप्त कर सकते हैं।
इसलिए,
(i)
इसलिए, के समतुल्य चार परिमेय संख्याएँ हैं : और उत्तर
इसलिए, के समतुल्य चार परिमेय संख्याएँ हैं और उत्तर
इसलिए, के समतुल्य चार परिमेय संख्याएँ हैं और है। उत्तर
हल : को संख्या रेखा पर निम्न प्रकार से निरूपित किया जाता है :
एक रेखा खींचिए और इस पर परिमेय संख्या शून्य को निरूपित करने के लिए बिंदु O लीजिए। हम 1 को निरूपित करने के लिए 0 के
दाईं ओर बिंदु A लेते हैं। रेखाखंड OA को चार समान भागों में इस प्रकार विभाजित कीजिए कि OB = BC = CD = DA
तब OB, OA का एक चौथाई है।
OD = OB + BC + CD
⇒ OD = OB + OB + OB
OD = 3OB
⇒
⇒
इस प्रकार, बिन्दु D परिमेय संख्या को निरूपित करता है।
को संख्या रेखा पर निम्न प्रकार से निरूपित किया जाता है। एक रेखा खींचिए और इस पर परिमेय संख्या शून्य (0) निरूपित
करने के लिए बिंदु O लीजिए।
हम 1 को निरूपित करने के लिए 0 के बाईं ओर एक बिंदु A लेते हैं।
OA को आठ समान भागों में इस प्रकार विभाजित कीजिए कि
OB = BC = CD = DE = EF = FG = GH = AH
तब OB, OA का एक आठवाँ है।
अब OF = 5 (OB)
इस प्रकार, बिंदु F परिमेय संख्या को निरूपित करता है।
को संख्या रेखा पर निम्न प्रकार से निरूपित किया जाता है।
एक रेखा खींचिए और इस पर परिमेय संख्या शून्य (0) निरूपित करने के लिए बिंदु O लीजिए।
परिमेय संख्या – 1 को निरूपित करने के लिए संख्या रेखा पर बिंदु A लीजिए।
हम – 2 को निरूपित करने के लिए A के बाईं ओर एक बिंदु E लेते हैं। रेखाखंड AE को चार समान भागों में इस प्रकार विभाजित
कीजिए कि
AB = BC = CD = DE.
अब, OD = OA + AB + BC + CD
इस प्रकार, बिंदु D परिमेय संख्या को निरूपित करता है।
को संख्या रेखा पर निम्न प्रकार से निरूपित किया जाता है।
एक संख्या रेखा l खींचिए और इस पर परिमेय संख्या शून्य (0) को निरूपित करने के लिए बिंदु O लीजिए।
हम 1 को निरूपित करने के लिए O के दाईं ओर एक बिंदु A लेते हैं।
रेखाखंड OA को आठ समान भागों में विभाजित कीजिए ताकि
OB = BC = CD = DE = EF = FG = GH = HA
तब OB, OA. का एक आठवाँ है।
अब, OH = 7 गुना OB
= 7 (OB)
⇒
इस प्रकार, बिन्दु H परिमेय संख्या को निरूपित करता है।
TR = RS = SU
⇒
मात्रक.
और = PQ = QB
⇒ = PQ = QB
मात्रक.
अब OP = OA + AP
OQ = OA + AP + PQ
P और Q शून्य के दाईं ओर स्थित हैं।
इस प्रकार, बिंदु P परिमेय संख्या को निरूपित करता है और बिंदु Q परिमेय संख्या को निरूपित करता है।
अब, OR = OT + TR
OS = OT + TR + RS
R और S शून्य के बाईं ओर हैं।
इस प्रकार, बिन्दु R परिमेय संख्या को निरूपित करता है और बिंदु S
परिमेय संख्या को निरूपित करता है।
(i) और (ii) और (iii) और
(iv) और (v) और (vi) और
(vii) और
हल : (i) के अंश और हर को 9 से गुणा कीजिए।हम प्राप्त करते हैं : एक तुल्य परिमेय संख्या के अंश और हर को 21 से गुणा कीजिए, हम प्राप्त करते
हैं :
एक तुल्य परिमेय संख्या
क्योंकि – 63, 63 के बराबर नहीं है।
इस प्रकार
या
इसीलिए, और एक समान परिमेय संख्या निरूपित नहीं करते। उत्तर।
(ii) के अंश और हर को 25 से गुना कीजिए। हम प्राप्त करते हैं :
एक तुल्य परिमेय संख्या
एक तुल्य परिमेय संख्या
क्योंकि – 400 = – 400
इस प्रकार,
या
इसीलिए समान परिमेय संख्या को निरूपित करते हैं। उत्तर
(iii) के अंश और हर को – 1 से गुणा कीजिए, हम प्राप्त करते हैं :
इस प्रकार और के एक समान परिमेय संख्या को निरूपित करते हैं। उत्तर
(iv) के अंश और हर को 4 से गुणा कीजिए, हम प्राप्त करते हैं :
इस प्रकार, और एक समान परिमेय संख्या को निरूपित करते हैं। उत्तर
(v) के अंश और हर को – 3 से गुणा कीजिए, हम प्राप्त करते हैं :
इस प्रकार, और एक समान परिमेय संख्या को निरूपित करते हैं। उत्तर
(vi) के अंश और हर को 3 से गुणा कीजिए, हम प्राप्त करते हैं :
एक तुल्य परिमेय संख्या
अब और में हम देखते हैं कि 3, – 1 के बराबर (समान) नहीं है।
इस प्रकार,
या
इसलिए और एक समान परिमेय संख्या निरूपित नहीं करते हैं। उत्तर
(vii) के अंश और हर को – 1 से गुणा कीजिए, हम प्राप्त करते हैं :
तुल्य परिमेय संख्या
के अंश और हर को – 1, से गुणा कीजिए, हम प्राप्त करते हैं
तुल्य परिमेय संख्या
अब और में हम देखते हैं कि 5, – 5 के बराबर नहीं है।
इस प्रकार है,
या
इसलिए और एक समान संख्या को निरूपित नहीं करते हैं।
हल :
8 और 6 का म० स० 2 है।
अंश और हर को 2 से भाग दीजिए।
हम प्राप्त करते हैं :
सरलतम रूप में परिमेय संख्या उत्तर
25 और 45 का म० स० क्रमशः 5 है।
अंश और हर को 5 से भाग दीजिए, हम प्राप्त करते हैं :
सरलतम रूप में परिमेय संख्या उत्तर
44 और 72 का म० स० 4 है।
अंश और हर को 4 से भाग दीजिए।
44 और 72 का म०स० 2 x 2 अर्थात् 4 है।
हम प्राप्त करते हैं
सरलतम रूप में परिमेय संख्या उत्तर
8 और 10 का म०स० 2 है।
अंश और हर को 2 से विभाजित कीजिए, हम प्राप्त करते हैं :
सरलतम रूप में परिमेय संख्या उत्तर
हल :
हर 7 और 3 (परिमेय संख्याओं और ) का ल०स० 21 है।
ल०स० = 3 x 7 = 21
अब हम प्रत्येक दी गई परिमेय संख्या को हर 21 वाली तुल्य परिमेय संख्या बनाते हैं।
और
– 15 < 14
अतः, उत्तर
हर 5 और 7 (परिमेय संख्याओं और ) का ल० स० 35 है।
ल० स० = 5 x 7 = 35
अब हम दी गई प्रत्येक परिमेय संख्या को हर 35 वाली तुल्य परिमेय संख्या बनाते हैं।
और
हम देखते हैं कि
– 28 < – 25 [∵ 28 > 25, ∴ – 28 < – 25]
अतः, उत्तर
हमें प्राप्त है :
(अंश और हर को – 2 से गुणा कीजिए)
इस प्रकार तुल्य परिमेय संख्याएँ उत्तर
हरों 5 और 4 (परिमेय संख्याओं और ) का ल० स० 20 है।
ल० स० = 4 x 5 = 20
अब हम दी गई प्रत्येक परिमेय संख्या को हर 20 वाली तुल्य परिमेय संख्या बनाते हैं।
और
हम देखते हैं कि
– 32 > – 35 [∵ 32 < 35, ∴ – 32 > – 35]
⇒
अत:, उत्तर
एक समतुल्य परिमेय संख्या
और एक समतुल्य परिमेय संख्या
हम देखते हैं
– 4 < – 3 [∵ 4 < 3, ∴ – 4 > -3]
⇒
इसलिए, उत्तर
(अंश और हर को – 1 से गुणा कीजिए)
इसलिए, समतुल्य परिमेय संख्या उत्तर
एक समतुल्य प्रमेय संख्या। हम देखते हैं कि 0 – 7
⇒
इसलिए उत्तर
हल : (i) हरों 3 और 2 (परिमेय संख्याओं और का ल०स० 6 है।
ल०स० = 2 x 3 = 6
एक समतुल्य परिमेय संख्या
एक समतुल्य परिमेय संख्या
15 > 4
⇒
या उत्तर
अतः से बड़ा है।
(ii) हरों 6 और 3 (परिमेय संख्याओं और ) का ल०स० 6 है।
ल० स० = 3 x 2 = 6
एक समतुल्य परिमेय संख्या
हम देखते हैं कि – 5 > – 8
⇒ [∵ 5 < 8 ∴ – 5 > – 8]
या
इसलिए में से बड़ा है। उत्तर
(iii) एक समतुल्य परिमेय संख्या परिमेय संख्याएँ
एक समतुल्य परिमेय संख्या हम देखते हैं कि
– 8 > – 9 [∵ 8 < 9 ∴ – 8 – 9]
⇒
या
इसलिए से बड़ा है उत्तर
(iv) हम जानते हैं कि
1 > – 1
∴
इसलिए से बड़ा है उत्तर
(v)
और
हरों 7 और 5 (परिमेय संख्याएँ और ) का ल० स० 35 है।
ल० स० = 5 x 7 = 35
एक समतुल्य परिमेय संख्या
एक समतुल्य परिमेय संख्या
हम देखते हैं कि
– 115 > 133
⇒
या
या
इसलिए से बड़ा है। उत्तर
हल : (i) प्रत्येक परिमेय संख्या; और का हर 5 (समान हर है।) इसलिए हम अंशों की तुलना करते हैं। हम देखते हैं कि
– 3 < – 2 < – 1
और
अतः, दी गई परिमेय संख्याएँ आरोही क्रम में हैं :
और उत्तर
(ii) हरों 3, 9 और 3 (परिमेय संख्याओं और के) का ल०स० 9 हैं
ल० स० = 3 x 3 = 9
अब, एक समतुल्य परिमेय संख्या
एक समतुल्य परिमेय संख्या।
हम देखते हैं कि
– 12 < – 3 < – 2
या
या
अतः, दी गई परिमेय संख्याएँ आरोही क्रम में हैं : और उत्तर
(iii) हरों 7, 2 और 4 (परिमेय संख्याओं और ) का ल०स० 28 है।
ल०स० = 2 x 2 x 7 = 28
अब,
एक समतुल्य परिमेय संख्या
एक समतुल्य परिमेय संख्या
एक समतुल्य परिमेय संख्या
हम पाते हैं कि
– 42 < – 21 < – 12
या
या
अतः, दी गई परिमेय संख्याएँ आरोही क्रम में हैं :
और उत्तर
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